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Viksit Bharat @2047: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिखाया भारत को विकसित देश बनाने का प्लान, पोर्टल भी हुआ लॉन्च

 


अगले 24 सालों तक यानी वर्ष 2047 तक भारत की तरक्की का रास्ता कैसे तय होगा, इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बड़ी योजना का खाका सामने रख दिया है. साल 2047 तक भारत को विकसित देश के रूप में दुनिया के सामने लाने के लिए भारत का विजन डॉक्यूमेंट पेश किया जा चुका है. इसके साथ ही विकसित भारत प्रोग्राम की शुरुआत हो चुकी है.

युवाओं की मदद से भारत बनेगा विकसित देश

विकसित भारत @2047 या Viksit Bharat @2047 कार्यक्रम में पीएम मोदी ने अपने प्लान को देश के युवाओं के सामने पेश तो किया ही है. इसके अलावा उनसे भी आइडिया मांगे जा रहे हैं. इसे 'विकसित भारत @2047: वॉइस ऑफ यूथ' का नाम दिया गया है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने क्या कहा

पीएम मोदी ने इस अवसर पर अपने संबोधन में कहा कि ये आजादी का अमृतकाल है और भारत के लिए तरक्की की राह पर फर्राटा भरने का 'यही समय है-सही समय है.' पूरी युवा पीढ़ी इस समय अपनी ऊर्जा के माध्यम से देश को आगे ले जाने के लिए तैयार है. आजादी मिलने के समय जिस तरह युवा जोश ने देश को आगे बढ़ाया, ठीक उसी तरह अब युवाओं का लक्ष्य और संकल्प एक ही होना चाहिए कि- 'विकसित देश कैसे बनेगा भारत'.

ऐसा क्या करें कि भारत विकसित बनने के अपने मार्ग में तेजी से आगे बढ़े और इसके लिए देश की युवा ऊर्जा को ऐसे ही लक्ष्य के लिए चैनलाइज करना है. देश की यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर्स से भी पीएम मोदी ने कहा कि युवाओं के साथ शिक्षकों को भी 'विकसित भारत @ 2047' के लक्ष्य में योगदान देने के लिए आउट ऑफ द बॉक्स यानी अपने दायरे से बाहर जाकर सोचना होगा.

आइडिया और इंडिया में I सबसे पहले

पीएम मोदी ने कहा कि आइडिया और इंडिया में I सबसे पहले आता है और ये आइडिया ही सबसे कारगर तरीका होगा. विकसित भारत के विजन के तहत लॉन्च किए गए पोर्टल पर पांच अलग-अलग सुझाव दिए जा सकते हैं. सबसे बेहतरीन 10 सुझावों और आइडिया के लिए पुरस्कारों की भी व्यवस्था की गई है. उन्होंने कहा कि हमें ऐसी युवा पीढ़ी को विकसित करना है जो आने वाले समय में देशहित को सर्वोपरि रखते हुए भारत को तरक्की की राह पर सबसे आगे बनाए रख सके.

कहां आयोजित हुई 'विकसित भारत @2047' वर्कशॉप

सुबह 10.30 बजे से देश के सभी राजभवनों में इसके लिए वर्कशॉप आयोजित की जा रही है. इसमें सभी यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर्स और कई आर्गेनाइजेशन के प्रमुख हिस्सा ले रहे हैं और कार्यक्रम वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सभी जगह प्रसारित किया जा रहा है.

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